विश्व कैंसर दिवस पर गोष्ठी का हुआ आयोजन ।

महराजगंज । मुख्य चिकित्सा अधिकारी कार्यालय सभागार में मंगलवार को विश्व कैंसर दिवस मनाया गया। यूनाइटेड बाय यूनिक थीम पर आयोजित गोष्ठी को संबोधित करते हुए अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डाॅ.राकेश कुमार ने कहा कि कैंसर दिवस का मकसद कैंसर के प्रति लोगों को जागरूक करना और इससे बचे रहने के लिए सचेत करना है। गोष्ठी में स्वास्थ्य अधिकारियों और कर्मचारियों ने बैनर पर हस्ताक्षर भी किया।उन्होंने कहा कि दुनिया भर में मौत के सबसे बड़े कारणों में कैंसर भी एक है। ऐसे में अब वक्त आ गया है एकजुट होकर इस बीमारी से लड़ने की। जीवन शैली की कुछ गलतियाँ कैंसर की वजह बन सकती है। यहां यह भी जानना जरूरी है कि कौन से जोखिम फैक्टर्स हैं जो कैंसर की वजह बनते हैं। ऐसे में जीवन शैली बेहतर करके भी कैंसर की चपेट में आने से बचा जा सकता है। अगर किसी व्यक्ति में कैंसर के लक्षण दिखे तो तत्काल जांच कराकर इलाज शुरू कर देना चाहिए। डिप्टी सीएमओ डाॅ केपी सिंह ने कहा कि कैंसर एक बीमारी है जिसपर जीवन शैली का अत्यधिक प्रभाव पड़ता है। कैंसर होने पर जान को खतरा भी रहता है। उन्होंने बताया कि लंबे समय तक तनाव हो तो इससे एक नहीं बल्कि कई स्वास्थ्य संबंधी बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है। ऐसे में दवा और योगा आदि से तनाव से निजात पाया जा सकता है। विश्व कैंसर दिवस मनाने का मुख्य उद्देश्य न केवल लोगों को इस बीमारी के प्रति जागरूक करना, रोकथाम को बढ़ावा देना, जल्दी पहचान सुनिश्चित करना और प्रभावी उपचार को प्रोत्साहित करना है। डिप्टी सीएमओ डाॅ अखिलेश यादव ने बताया कि एनपीसीडीएस कार्यक्रम के तहत आयोजित इस गोष्ठी में कैंसर से बचाव के लिए जीवनशैली में सुधार करने की पहल की गयी है। खान पान का कैंसर पर सीधा असर पड़ता है। अगर शरीर में तंबाकू जैसी चीजें जा रही है या जरूरत से ज्यादा एल्कोहल का सेवन किया जा रहा है तो इससे भी कैंसर हो सकता है। तंबाकू के सेवन से फेफड़ों, गले और ओरल कैंसर की संभावना बढ़ती है। बहुत ज्यादा ड्रिंक करने से लीवर, ब्रेस्ट का खतरा बढ़ता है।
उन्होंने बताया कि कैंसर की संभावना को कम करने के लिए खान पान की बड़ी भूमिका होती है। ऐसे में व्यक्ति को पोषण से भरपूर पौष्टिक आहार का सेवन करना चाहिए। कार्यक्रम में प्रीती, सुनीता गुप्ता, अंजू कुमारी, सुनीता शर्मा आदि प्रमुख तौर पर मौजूद रहीं।
कैंसर निवारण उपाय:
धुम्रपान न करें ।
< स्वस्थ्य खाने की आदतों का अनुसरण करें ।
शरीर का वजन संतुलित रखें।
भोजन में फल सब्जियोंका ज्यादा सेवन करें।
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कैंसर के लक्षण:
आंत या मूत्राशय की आदतों में बदलाव ।
ना भरने वाला घाव नासूर
असामान्य रक्तस्त्राव या अन्य कोई स्त्राव।
स्तन में या शरीर के किसी भी हिस्से में गांठ।